उत्तराखंड

उत्तराखंड चुनावः BJP-Congress का खेल बिगाड़ सकती हैं पहली बार मैदान में उतर रहीं पार्टियां

[ad_1]

हरिद्वार. उत्तराखंड में 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए सियासी मैदान तैयार है. अगले कुछ महीनों में चुनाव का ऐलान संभव है, लेकिन उससे पहले सभी राजनीतिक पार्टियां जोड़-तोड़ और सियासी समीकरणों को साधने में जुटे हुए हैं. इस बार के चुनाव में कई ऐसे दल भी हैं, जो पहली बार उत्तराखंड के सियासी मैदान में उतरने की तैयारियां कर रहे हैं. आम आदमी पार्टी और असदुद्दीन ओवैसी की एआईएमआईएम जैसी पार्टियां पहली बार इस पहाड़ी राज्य में अपने पक्ष में माहौल बनाने में जुटी हैं. प्रदेश के अन्य जिलों की तरह हरिद्वार में भी इन दलों ने जोर आजमाइश शुरू कर दी है.

आम आदमी पार्टी और AIMIM की राजनीतिक कवायदों से प्रदेश में इन दिनों एक अलग सियासी चर्चा ही सरगर्म है. सियासी जानकारों की मानें तो कहा जा रहा है कि पहली बार चुनाव लड़ने वाली ये पार्टियां, प्रदेश में पहले से अपनी जड़-जमीन बना चुकी भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस के लिए मुश्किलें खड़ी कर सकती हैं. देखना रोचक होगा कि चुनाव में ये पार्टियां किस तरह अपना स्थान बनाती हैं या देश की दो बड़ी प्रमुख पार्टियों के चुनावी अभियान पर इनका कैसा असर पड़ता है.

हरिद्वार की 11 विधानसभा के नतीजे होंगे अहम

हरिद्वार जिले में 11 विधानसभाएं हैं, जिन पर जीतने वाले प्रत्याशी उत्तराखंड में सरकार बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. इस बार एआईएमआईएम और आम आदमी पार्टी, दोनों ही हरिद्वार में चुनाव के महीनों पहले से सक्रिय हैं. एआईएमआईएम ने उत्तराखंड में 22 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऐलान किया है, जिसमें हरिद्वार की 11 विधानसभाएं शामिल हैं. इससे यह साफ हो गया है कि 2017 के विधानसभा चुनाव के मुकाबले इस बार चुनाव मैदान में अलग समीकरण नजर आ सकते हैं.

बीजेपी-कांग्रेस और बसपा को नुकसान

हरिद्वार जिले में जातीय समीकरण काफी मायने रखते हैं. सियासी जानकारों का मानना है कि ऐसे में चुनाव मैदान में नए दलों के आने से बीजेपी, कांग्रेस और बसपा के लिए राह कठिन हो सकती है. वरिष्ठ पत्रकार तपन सुशील का कहना है आप और एआईएमआईएम के आने से कांग्रेस और बसपा को नुकसान हो सकता है. समूचे उत्तराखंड में के साथ-साथ हरिद्वार जिले की कुछ सीटों पर जरूर असर देखने को मिल सकता है. आपको बता दें कि इसके अलावा एक और दल भी चर्चा में है. राष्ट्रीय जन लोक पार्टी भी उत्तराखंड में चुनाव लड़ सकती है. इसके संयोजक शेर सिंह राणा हैं. वहीं, स्थानीय स्तर पर सक्रिय निर्दलीय उम्मीदवारों की सुगबुगाहटों से भी आने वाला चुनाव काफी रोचक होने की उम्मीद है.

पढ़ें Hindi News ऑनलाइन और देखें Live TV News18 हिंदी की वेबसाइट पर. जानिए देश-विदेश और अपने प्रदेश, बॉलीवुड, खेल जगत, बिज़नेस से जुड़ी News in Hindi.

[ad_2]

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *