राष्ट्रीय

आत्मनिर्भरता मजबूत अर्थव्यवस्था की पहली शर्त- रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह

केरल, तिरुवनंतपुरम: “आत्मनिर्भरता एक मजबूत अर्थव्यवस्था की पहली शर्त है और भारत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘आत्मनिर्भर भारत’ के सपने को साकार करने की दिशा में बड़े कदम उठा रहा है,” यह बात रक्षा मंत्री  राजनाथ सिंह ने तिरुवनंतपुरम में एक कार्यक्रम के दौरान कही। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार को हमेशा सबसे बड़े ‘परिवर्तन निर्माता’ के रूप में पहचाना जाएगा, क्योंकि भारत अभूतपूर्व विकास, समृद्धि, सामाजिक सद्भाव और प्रगति के युग में प्रवेश कर रहा है।

रक्षा मंत्री ने बताया कि आत्मनिर्भरता की दिशा में, सरकार ने रक्षा अनुसंधान एवं विकास और नवाचार के लिए एक मजबूत उत्पादन आधार और इकोसिस्टम बनाने के कई कदम उठाए हैं। इनमें उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु में रक्षा औद्योगिक गलियारों की स्थापना और 5,500 से अधिक वस्तुओं की सकारात्मक स्वदेशीकरण सूचियां शामिल हैं। रक्षा मंत्री ने कहा कि भारत में जीई-414 इंजन का निर्माण देश की इंजन निर्माण क्षमता में एक बड़ी प्रगति का प्रतीक है। उन्होंने बताया कि उनकी हाल की अमेरिका यात्रा के दौरान, अमेरिकी रक्षा कंपनियों के साथ उनकी उपयोगी चर्चा हुई और वे ‘मेक इन इंडिया’ कार्यक्रम में शामिल होने के लिए उत्साहित हैं।

उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि एक समय था जब देश अपनी रक्षा जरूरतों के लिए अन्य देशों पर निर्भर था, लेकिन अब 65 प्रतिशत से अधिक रक्षा उपकरण भारत में ही निर्मित किए जा रहे हैं। उन्होंने यह भी बताया कि भारत का वार्षिक रक्षा उत्पादन 1.27 लाख करोड़ रुपये को पार कर चुका है, और इस वित्त वर्ष में इसे 1.75 लाख करोड़ रुपये तक पहुंचाने का लक्ष्य है। रक्षा मंत्री ने रक्षा उपकरणों के निर्यात में हुई प्रगति का भी उल्लेख किया। वित्त वर्ष 2023-24 में भारत का रक्षा निर्यात 21,000 करोड़ रुपये को पार कर गया है, और 2029 तक इसे 50,000 करोड़ रुपये तक पहुंचाने का लक्ष्य है।

उन्होंने प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत के अंतरराष्ट्रीय मंच पर बढ़ते कद का भी जिक्र किया, जिसमें रूस और यूक्रेन की यात्राओं का उदाहरण दिया, जहाँ दोनों देशों ने भारत की बात सुनी। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी को हाल ही में राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूस के सर्वोच्च नागरिक सम्मान से सम्मानित किया, जिससे रूस उन 16 देशों में शामिल हो गया जिन्होंने प्रधानमंत्री को सर्वोच्च नागरिक सम्मान दिया है।

रक्षा मंत्री ने इस बात पर भी जोर दिया कि देश ने पिछले दस वर्षों में महत्वपूर्ण परिवर्तन देखे हैं, जो आर्थिक सुधारों से लेकर बड़े सामाजिक और सांस्कृतिक परिवर्तन तक फैले हैं। उन्होंने कहा कि 2014 से पहले भारत की अर्थव्यवस्था ‘नाज़ुक पाँच’ में शामिल थी, लेकिन आज यह दुनिया की ‘शानदार पाँच’ अर्थव्यवस्थाओं में शामिल है। उन्होंने भारत की तेज़ी से बढ़ती अर्थव्यवस्था पर प्रकाश डालते हुए कहा कि यह पिछले दो वर्षों से दुनिया की सबसे तेज़ी से बढ़ने वाली अर्थव्यवस्था है और 2027 तक भारत के तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की संभावना है। उन्होंने कोविड-19 महामारी के दौरान सरकार की नीतियों की प्रशंसा की और कहा कि इस दौरान लोगों की सुरक्षा और कल्याण के लिए कई प्रभावी कदम उठाए गए।

रक्षा मंत्री ने ‘स्वच्छ भारत अभियान’ और ‘खुले में शौच मुक्त भारत’ की सफलता को भी प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में आए सकारात्मक बदलाव का सबसे अच्छा उदाहरण बताया। उन्होंने लैंगिक समानता और महिला सशक्तिकरण के लिए उठाए गए कदमों, जैसे कि बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ और नारी शक्ति वंदन अधिनियम का उल्लेख किया, और बताया कि सशस्त्र बलों में महिलाओं की भागीदारी को बढ़ावा देने के लिए भी कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं।

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