उत्तराखंड

ब्लड मून का अद्भुत नज़ारा देखने को तैयार रहें, यूकॉस्ट देहरादून में होगा विशेष कार्यक्रम

देहरादून: अगर आप भी ब्रह्मांड की अद्भुत सुंदरता को नज़दीक से देखना चाहते हैं, तो आपके लिए सुनहरा मौका है। 7 सितंबर की रात आसमान में दिखाई देगा ब्लड मून — एक पूर्ण चंद्र ग्रहण, जो अपनी लालिमा भरी चमक से सबका मन मोह लेगा।

इस अनोखी खगोलीय घटना को उत्तराखंड राज्य विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद (यूकॉस्ट), झाझरा स्थित क्षेत्रीय विज्ञान केंद्र में विशेष टेलीस्कोप के माध्यम से देखा जा सकेगा। यह आयोजन शाम 7 बजे से रात 1 बजे तक चलेगा।

ग्रहण का वैज्ञानिक और भावनात्मक महत्व

यूकॉस्ट के महानिदेशक प्रो. दुर्गेश पंत ने बताया,”यह सिर्फ खगोल विज्ञान की घटना नहीं, बल्कि मानव और ब्रह्मांड के बीच के गहरे संबंध को महसूस करने का एक अवसर है। हम चाहते हैं कि लोग इसे देखें, समझें और ब्रह्मांड की विशालता को अनुभव करें।”

ब्लड मून: चंद्रमा क्यों दिखता है लाल?

कार्यक्रम के समन्वयक और डॉ. ओमप्रकाश नौटियाल, प्रभारी, क्षेत्रीय विज्ञान केंद्र, देहरादून ने बताया कि पूर्ण चंद्र ग्रहण में चंद्रमा पूरी तरह पृथ्वी की छाया में आ जाता है, लेकिन फिर भी यह पूरी तरह अदृश्य नहीं होता। “पृथ्वी का वायुमंडल सूर्य की किरणों को मोड़कर केवल लाल-नारंगी प्रकाश को चंद्रमा तक पहुंचने देता है, जिससे वह ‘ब्लड मून’ की तरह चमकता है।”

सभी के लिए खुला अवसर, नि:शुल्क पंजीकरण जारी

इस कार्यक्रम में वैज्ञानिकों, छात्रों, परिवारों और आम नागरिकों को चंद्र ग्रहण की हर अवस्था को सुरक्षित तरीके से देखने और समझने का मौका मिलेगा। यूकॉस्ट की विशेषज्ञ टीम ग्रहण से जुड़ी वैज्ञानिक जानकारी, रोचक तथ्य, पौराणिक कथाएं और दर्शकों के प्रश्नों के उत्तर भी देगी।यह आयोजन पूरी तरह नि:शुल्क है। इच्छुक प्रतिभागी यूकॉस्ट की वेबसाइट पर जाकर ऑनलाइन पंजीकरण कर सकते हैं।

कैमरा और गर्म कपड़े साथ लाएं

डॉ. नौटियाल ने आगंतुकों से अनुरोध किया है कि वे:

  • हल्का गर्म कपड़ा या शॉल साथ लाएं (रात में ठंड बढ़ सकती है)

  • समय पर पहुंचें ताकि बेहतर देखने की जगह मिल सके

  • यदि संभव हो तो कैमरा व ट्राइपॉड साथ लाएं ताकि चंद्रमा की खूबसूरत लालिमा को कैमरे में कैद किया जा सके

मुख्य कार्यक्रम समय

  • शुरुआत: शाम 7:00 बजे

  • मुख्य ग्रहण अवधि: रात 9:00 बजे से 1:00 बजे तक

  • स्थान: उत्तराखंड राज्य विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद (यूकॉस्ट), झाझरा, देहरादून